छत्तीसगढ़
Bilaspur News: सड़क हादसों में घायलों को अब मिलेगा डेढ़ लाख तक का कैशलेस इलाज, मददगारों को मिलेंगे 25 हजार रुपए
सड़क दुर्घटनाओं में अब पीड़ितों को तत्काल और बेहतर इलाज मिल सकेगा। छत्तीसगढ़ शासन की "सड़क दुर्घटना नगदी उपचार स्कीम 2025" के तहत बिलासपुर जिले में घायल व्यक्तियों को नामित अस्पतालों में अधिकतम ₹1.5 लाख तक का कैशलेस इलाज मिलेगा। यह योजना 5 मई 2025 से प्रभावशील हो चुकी है।

BILASPUR NEWS. सड़क दुर्घटनाओं में अब पीड़ितों को तत्काल और बेहतर इलाज मिल सकेगा। छत्तीसगढ़ शासन की “सड़क दुर्घटना नगदी उपचार स्कीम 2025” के तहत बिलासपुर जिले में घायल व्यक्तियों को नामित अस्पतालों में अधिकतम ₹1.5 लाख तक का कैशलेस इलाज मिलेगा। यह योजना 5 मई 2025 से प्रभावशील हो चुकी है।
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक श्री रजनेश सिंह ने जिले के सभी राजपत्रित अधिकारियों और थाना प्रभारियों की बैठक में योजना की विस्तृत जानकारी दी। उन्होंने बताया कि यह योजना मोटर वाहन अधिनियम 1988 की धारा 165 के तहत लागू की गई है, जिसका उद्देश्य है सड़क दुर्घटना पीड़ितों को समय पर और गुणवत्तापूर्ण चिकित्सा सुविधा प्रदान करना।
इस योजना के अंतर्गत अब तक बिलासपुर जिले के 24 अस्पतालों को नामित किया गया है, जिनमें कोटा, तखतपुर, बिल्हा, रतनपुर और गनियारी जैसे दूरस्थ क्षेत्र के अस्पताल भी शामिल हैं। इन अस्पतालों में घायलों का डेढ़ लाख रुपये तक कैशलेस इलाज किया जाएगा। यदि किसी अन्य अस्पताल में घायल को ले जाया जाता है, तो वहां केवल प्राथमिक इलाज ही होगा और तत्पश्चात मरीज को नामित अस्पताल में रेफर किया जाएगा। पूरी प्रक्रिया पोर्टल पर दर्ज की जाएगी।

जनजागरूकता बढ़ाने के लिए यातायात पुलिस द्वारा लगातार विभिन्न माध्यमों से प्रचार-प्रसार किया जा रहा है। सभी थाना प्रभारियों को निर्देशित किया गया है कि वे सोशल मीडिया सहित अन्य माध्यमों से योजना की जानकारी आम जनता तक पहुंचाएं।
“राहवीर योजना” के तहत मददगारों को ₹25,000 की राशि
इसके साथ ही भारत सरकार की “राहवीर योजना” के तहत यदि कोई व्यक्ति सड़क दुर्घटना में घायल की मदद करता है, तो उसे सम्मान स्वरूप ₹25,000 की राशि दी जाएगी। यह कदम लोगों को बिना झिझक घायल की सहायता करने हेतु प्रोत्साहित करेगा। पुलिस विभाग ने अपील की है कि आमजन इस योजना का लाभ लें और जरूरतमंदों की सहायता करने में आगे आएं। सरकार का यह प्रयास सड़क दुर्घटना पीड़ितों के लिए एक राहत भरी पहल है।